मनीष शर्मा : ट्रम्प के राष्ट्रपति न रहने के मायने..जहां 4 यार मिल जाए…
डोनाल्ड ट्रम्प अमेरिका के राष्ट्रपति बनने जा रहे हैं…. वो एक ऐसे इंसान हैं जो extreme emotions generate करते हैं….. जो उन्हें पसंद करता है वो बहुत ज्यादा करता है.. और जो उनसे नफ़रत करता है वो हद से ज्यादा नफरत करता है…….. इन extreme के बीच उनका व्यक्तित्व झूलता रहता है.
ये खबर भी पढ़ें : प्रसिद्ध पातकी : विष्णु सहस्रनाम.. ईश्वर का वृक्ष से विवाह
लेकिन एक बात है जिस पर सभी लोग सहमत होंगे…. उनसे नफ़रत करने वाले भी…. और वो यह है कि डोनाल्ड ट्रम्प से बड़ा शांति का Negotiator कोई नहीं.
उनके शासन काल में दुनिया में लड़ाईयाँ बंद हो गई थी……. समूचा Middle East एकदम शांत था…. इजराइल और अरब world के बीच रिश्ते सुधर गए थे…. जो देश एक दूसरे के दुश्मन थे वो एक दूसरे के देशों में Embassies खोल रहे थे.
रूस के साथ सम्बन्ध शांत थे… चीन के साथ जो भी गर्मा गर्मी थी वो शुद्ध रूप से Business Matters पर थी.
यह सब छोड़िये… ट्रम्प ने वह काम किया जो किसी भी अमेरिकी राष्ट्रपति ने सपने में भी नहीं सोचा होगा…. उत्तरी कोरिया से सम्बन्ध स्थापित करना…. वहाँ जाना… पैदल चल कर उत्तर कोरिया में जाना… वहाँ के Dictator को सामान्य व्यवहार करने पर मजबूर किया ट्रम्प ने.
यह कोई आसान बात नहीं थी.
ट्रम्प ने आतंकवाद फैलाने वाले देशों को फंडिंग बंद कर दी थी….. जिसका व्यापक असर दिख रहा था.
ये खबर भी पढ़ें : दिलीप मंडल : बॉलीवुड और इतिहास लेखकों के खिलाफ चार्जशीट
ट्रम्प के हटते ही नई अमेरिकी सरकार ने Palestine, पाकिस्तान जैसे आतंकी देशों को फंडिंग देनी शुरू कर दी….. Ukraine को जबरन NATO में घुसाने का उपक्रम शुरू कर दिया.
और इन तीन घटनाओं से एक Ripple Effect पैदा हुआ और इसके दुष्परिणाम दुनिया आज तक झेल रही है.
Ukraine रूस का युद्ध शुरू हुआ…. जिसकी वजह से पूरे यूरोप की अर्थव्यवस्था डूबने लगी. Middle East में तनाव शुरू हुआ… उसकी लपेट में Palestine, इजराइल, इराक, इरान, यमन…. सब आ गए.
Middle East से पलायन बढ़ा… और सब पहुंचे यूरोप में… और इस वजह से वहाँ माहौल बिगड़ा… फ़्रांस, जर्मनी, स्पेन, Netherland जैसे देशों में ढेरों दंगे हुए.
ये खबर भी पढ़ें : पवन विजय : ट्रम्प की जीत पर वामपंथी नैतिकता के मायने..!
पाकिस्तान को समर्थन बढ़ाने से भारतीय उपमहाद्वीप में तनाव बढ़ा…. फिर यह लोग बांग्लादेश में Game खेल गए….. पाकिस्तान में सरकार गिराई.. अफ़ग़ानिस्तान को तालिबान के हाथ में दे कर रातो रात भाग गए.
इन सब घटनाओं को अगर आप Human और Monetory terms में calculate करने बैठेंगे… तो पाएंगे कई ट्रिलियन Dollars का नुकसान हुआ है पिछले 4 सालों में…. लाखों लोगों की जान गयी हैं…. जिसकी कीमत तो निकाल ही नहीं सकते…… लाखों लोग पलायन कर गए… Jobs चली गई.. अर्थव्यवस्था बिगड़ गयीं… महंगाई बेतहाशा बढ़ी.. हमारे आपके जीवन में कुछ ना कुछ नकारात्मक बदलाव आये.
ट्रम्प अब वापस आये हैं… और अब उम्मीद है कि दुनिया फिर से शान्ति की ओर लौटेगी.
ये खबर भी पढ़ें : प्रसिद्ध पातकी : विष्णु सहस्रनाम.. ईश्वर का वृक्ष से विवाह
वैसे भी एक बार फिर से वही पुराने नेता लोग इकट्ठे हुए हैं……. ट्रम्प, मोदी, पुतिन, जिनपिंग, नेतन्याहू….. यह सब लोग सोच समझ कर काम करेंगे तो हमारे लिए एक बेहतर दुनिया बन सकेगी.