केंद्र सरकार की ये योजनाएं महिलाओं को बना रही सशक्त
देश की महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए सरकार ने भी कई प्रभावी कदम उठाएं हैं, जिसकी वजह से देश के कोने-कोने की महिलाएं आज सशक्त हो रही हैं।
पूरी दुनिया में आज महिलाओं को मुख्यधारा से जोड़ने और उनके उत्थान और अधिकारों की बात करते हुए विश्व महिला दिवस मनाया जाता है। भारत की आर्थिक, सामाजिक और राजनीतिक में अलग पहचान दिलाने में भारतीय महिलाओं का उतना ही योगदान है जितना पुरुषों का। ऐसे में देश की महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए सरकार ने भी कई प्रभावी कदम उठाएं हैं, जिसकी वजह से देश के कोने-कोने की महिलाएं आज सशक्त हो रही हैं।
पीएम-आवास योजना और लखपति दीदी योजना भी उनमें से एक है, जो गरीब और हाशिए पर जा रही महिलाओं को आत्मनिर्भर बनने में मदद कर रही हैं। इन योजना ने न सिर्फ महिला को सम्मान से छत दे रही है बल्कि अपने हुनर से घर चलाने की ताकत भी दे रही हैं।
लखपति दीदी योजना
लखपति दीदी योजना देशभर में महिलाओं को सशक्त बनाने का एक बड़ा माध्यम बन रही है। स्वयं सहायता समूह से जुड़ी हमारी माताएं-बहनें और बेटियां विकसित भारत के निर्माण की एक मजबूत कड़ी हैं। इस योजना के तहत महिलाओं को स्किल डेवलपमेंट ट्रेनिंग प्रोग्राम देना दिया जाता है। महिलाओं को अपना बिजनेस शुरू करने के लिए इस योजना के माध्यम से दिशा दिखाई जाती है। इस स्कीम के तहत महिलाओं को एलईडी बल्ब, बैग, खाद्य सामग्री और कई अन्य कार्यों के लिए प्रशिक्षण दिया जाता है। अब तक करीब एक करोड़ महिलाएं लखपति दीदी बन चुकी हैं। अब 3 करोड़ लखपति दीदी बनाने का लक्ष्य रखा है।
ड्रोन दीदियां
नमो ड्रोन दीदियां नवाचार, उपयुक्तता और आत्मनिर्भरता की चैंपियन हैं। केंद्र सरकार महिला सशक्तिकरण को आगे बढ़ाने के लिए ड्रोन की शक्ति का लाभ उठा रही है। यह स्कीम महिलाओं को सशक्त बनाने और कृषि क्षेत्र में उत्पादकता बढ़ाने की मंशा से शुरू की गई है। नमो ड्रोन दीदी स्कीम की शुरुआत 2022 में पीएम मोदी ने की थी। इसके तहत 1 लाख महिलाओं को अगले 5 सालों में प्रशिक्षित किया जाएगा। ड्रोन उड़ाने, डेटा विश्लेषण और ड्रोन के रखरखाव के साथ ही फसलों पर कैसे इसका प्रयोग करना है जैसी कई बारीकियों के बारे में ट्रेनिंग दी जाएगी।
पीएम-आवास योजना
घर मान-सम्मान की बुनियाद है। यहीं से सशक्तिकरण की शुरुआत होती है और सपनों को उड़ान मिलती है। पीएम-आवास योजना महिलाओं के सशक्तिकरण के लिए गेम-चेंजर रही है। पीएम-आवास योजना के तहत 70 प्रतिशत मकान ग्रामीण महिलाओं को दिए गए। इसकी वजह से किसी भी तरह के मौसम और प्राकृतिक कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ रहा है। पीएम आवास योजना के तहत महिलाओं को 2 करोड़ घरों का मालिकाना हक दिया गया। इस स्वामित्व ने घर के वित्तीय निर्णय लेने में महिलाओं की भागीदारी को मजबूत किया है। इस आवास योजना की शुरुआत 25 जून, 2015 में हुई थी।
पीएम स्वनिधि योजना
पीएम स्वनिधि योजना ने गरीब से गरीब कामगारों के जीवन में भी नई खुशियां भरी हैं। इसमें बड़ी संख्या में हमारी माताएं-बहनें भी शामिल हैं। योजना के तहत ऋण प्राप्त करने वाली महिला स्ट्रीट वेंडरों का प्रतिशत वितरित किए गए सभी ऋणों का लगभग 45 प्रतिशत (25.78 लाख) है। दरअसल, कोविड महामारी के दौरान शुरू की गई पीएम-स्वनिधि योजना कई लोगों के लिए आशा की किरण बन गई है। पिछले दो वर्षों में, इसने पर्याप्त ऋण वितरित किए हैं, डिजिटल लेनदेन की सुविधा प्रदान की है और यहां तक कि खाद्य वितरण प्लेटफार्मों के लिए दरवाजे भी खोले हैं।